रामनवमी के मौके पर देश में कई जगहों पर हो रहे पथराव से कई मंत्रियों ने अपना गुस्सा जाहिर किया है। इसमें केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह भी शामिल हो गए है। गिरिराज सिंह पथराव से इतना भड़क गए की उन्होंने कहा यह हमला देश की 'गंगा जमुनी तहजीब' के दावों के उलट है।
उन्होंने आगे कहा कि देश ने कभी भी नई मस्जिदों के निर्माण और आजादी के बाद मुस्लिम आबादी में कई गुना वृद्धि पर आपत्ति नहीं जताई, जबकि पाकिस्तान में बड़े पैमाने पर मंदिरों को तोड़ा गया, जहां हिंदू लगभग विलुप्त हो चुके हैं।
केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह एआईएमआईएम नेता असदुद्दीन ओवैसी के बयान पर तो भड़क ही गए। उन्होंने ओवैसी और 'जिन्ना के डीएनए' के साथ कमेंट की कि हिंदुओं को सांप्रदायिकता को भड़कने से बचने के लिए धार्मिक जुलूस निकालते समय मुस्लिम बहुल क्षेत्रों में जाने से बचना चाहिए।
उन्होंने आगे सवाल किया कि इस देश में नहीं तो रामनवमी के जुलूस कहां निकाले जाएंगे? पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान में? अगर किसी और धर्म के जुलूसों पर हमले होते तो राहुल गांधी और बीमार राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद अपने राजनीतिक दौरों के लिए सड़कों पर उतरते। गिरिराज सिंह पहले भी अपने कठोर बयानों को लेकर चर्चा में रहे हैं।
कुछ दिन पहले उन्होंने बयान दिया था की रामनवमी या किसी जुलूस पर बार-बार पथराव की घटना संयोग नहीं, बल्कि एक प्रयोग है। मैं बार-बार कहता हूं कि मुसलमानों की बढ़ती आबादी खतरा नहीं है, बल्कि कट्टरपंथी सोच देश के लिए खतरा है।
Repeated incidents of stone-pelting on Ram Navami or any procession are not a coincidence, but an experiment. I say time&again that increasing population of Muslims is not a threat, but radical thinking is a threat to the country: Union Minister Giriraj Singh on Khargone incident pic.twitter.com/jFWOb3H0gu
— ANI (@ANI) April 12, 2022